कर्म, नेतृत्व और समर्पण से कोई भी बाधा पार की जा सकती है – अरविंद सिंह

हिंदीभाषी महासंघ के महासचिव, भाजपा नेता और सिवान कब्बड़ी संघ के अध्यक्ष अरविंद सिंह ने हजीरा, सूरत स्थित AM/NS ने विश्वकर्मा पूजा के अवसर पर प्लांट पर विधिवत पूजा अर्चना की एवं आशीर्वाद प्राप्त किया।

उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि आज का दिन विशेष अवसरों से भरा हुआ है। हम एक साथ तीन महत्त्वपूर्ण त्योहारों को मना रहे हैं—विश्‍वकर्मा जयंती, हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी का 74वां जन्मदिवस, और गणेश विसर्जन। यह दिन हमें कई महत्त्वपूर्ण संदेश और जीवन के मूल्य सिखाता है।

अरविंद सिंह ने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि विश्‍वकर्मा जयंती को भारतीय परंपरा में निर्माण, सृजन और श्रम के सम्मान के रूप में मनाया जाता है। यह दिन उन सभी कर्मयोगियों को समर्पित है जो अपने श्रम और कौशल से समाज और राष्ट्र की प्रगति में योगदान देते हैं। प्रेस से बात करते हुए श्री सिंह ने कहा कि आज मैने अपने सभी कर्मवीरों के साथ अपने कार्य के प्रति समर्पण और निष्ठा की प्रतिज्ञा ली, ताकि हम अपनी मेहनत से न केवल अपने जीवन को सुधारें, बल्कि देश के विकास में भी अपना योगदान दें।

प्रधाममंत्री श्री नरेंद्र भाई मोदी की बात करते हुए उन्होंने ने कहा कि आज के इस शुभ दिन पर, हमारे प्रेरणास्त्रोत और मार्गदर्शक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी का 74वां जन्मदिवस भी है। मोदी जी ने अपने अदम्य साहस और दूरदर्शी सोच से भारत को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया है। चाहे वह आत्मनिर्भर भारत की बात हो, डिजिटल इंडिया की क्रांति, या विश्व में भारत का गौरव बढ़ाने का प्रयास—मोदी जी ने हर क्षेत्र में अपने कुशल नेतृत्व से हमें गर्वित किया है। उनकी अनवरत मेहनत और राष्ट्र के प्रति समर्पण हमें सिखाता है कि यदि हम अपने कर्म में सच्चाई और समर्पण से लगे रहें, तो किसी भी लक्ष्य को प्राप्त करना असंभव नहीं है। अरविंद ने कहा कि उनकी कड़ी मेहनत और निस्वार्थ सेवा हमें सिखाती है कि जब इरादे मजबूत हों, तो असंभव कुछ भी नहीं होता।

श्री सिंह ने भारत की विविधता वाला देश बताया और कहा कि गणेश विसर्जन हमें एक महत्वपूर्ण संदेश देता है—हर शुरुआत का एक अंत होता है, और हर अंत एक नए आरंभ का संकेत है। भगवान गणेश की विदाई इस बात का प्रतीक है कि जीवन में हर विघ्न को पार करते हुए, हमें आगे बढ़ना है। गणेश जी हमें सिखाते हैं कि चाहे कितनी भी कठिनाइयां क्यों न आएं, अपने लक्ष्य की ओर दृढ़ निष्ठा और साहस के साथ बढ़ते रहना चाहिए। मोदी जी के नेतृत्व में, हम ठीक इसी तरह नए-नए अवरोधों को पार कर रहे हैं और अपने देश को उन्नति की राह पर अग्रसर कर रहे हैं।

अपनी बात को विराम देते हुए श्री सिंह ने कहा कि आज के इन तीन महान आयोजनों का यह अद्भुत संगम हमें यह सिखाता है कि कर्म, नेतृत्व और समर्पण से कोई भी बाधा पार की जा सकती है। भगवान विश्‍वकर्मा से हमें श्रम और सृजन की प्रेरणा मिलती है, प्रधानमंत्री मोदी जी हमें दृढ़ निश्चय और नेतृत्व का पाठ पढ़ाते हैं, और गणेश जी हमें सिखाते हैं कि हर चुनौती के बाद एक नई शुरुआत होती है।