*रघुकुल मार्केट समाधान समिति की साप्ताहिक मीटिंग रघुकुल मार्केट के बोर्ड रूम में सम्पन्न हुई जिसमें पार्टियों के आवेदन आये तथा पिछले आवेदनों का निपटारा भी किया गया। कुछ व्यापारियों ने ट्रांसपोर्ट के सम्बंध में शिकायते की जिसके बारे में उपस्थित एडवोकेट पैनल ने उन्हें मार्गदर्शन प्रदान किया।*
*उन्होंने उपस्थित व्यापारियों को बताया कि ट्रांसपोर्टर अपनी सुविधा के लिए अपने बिल में लिखता है कि माल या माल के लिए उसकी कोई जिम्मेदारी नहीं है।*
*जैसा कि सभी जानते है कि जब कोई व्यापारी किसी माल को एक जगह से दूसरी जगह भेजने के लिए ट्रांसपोर्ट को देता है और ट्रांसपोर्ट उसकी रिसीप्ट या बिल्टी देता है तो इसका मतलब है कि व्यापारी और ट्रांसपोर्ट के बीच अनुबंध हो गया है।*
*इसलिए, अनुबंध के कानून के अनुसार, व्यापारी ट्रांसपोर्टर के खिलाफ अनुबंध के उल्लंघन का दावा कर सकता है। ट्रांसपोर्टर के खिलाफ विश्वासघात और धोखाधड़ी की आपराधिक शिकायत भी दर्ज की जा सकती है और फिर सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि किसी भी वाणिज्यिक परिवहन को उपभोक्ता संरक्षण कानूनों के तहत उपभोक्ता फोरम में भी मामला दायर किया जा सकता है।*
*उन्होंने बताया कि अतीत में कई दावे दायर किए गए हैं और कई व्यापारियों को उपभोक्ता फोरम से लाभ हुआ है। ये जानकारी एडवोकेट सचिन के पैनल वा एडवाकेट राकेश मोरया के तरफ से जानकारी दी इसके साथ ही रघुकुल समाधान कमिटी द्वारा आई शिकयत को सुना गया इसे साथ ही व्यापारी को कहा भी गया की इंश्योरेंस करके के माल भेज और समस्या रहेगी तो अन्य विषय में बात की जायेगी क्योंकि व्यापारी और ट्रास्पोट एक दूसरे के पूरक है*
*पहले भी insurance के मुद्दे में AKAS और अन्य संगठनों ने व्यापारिक भाई से अपील की हुई हैं की इंश्योरेंस करवाके ही माल को ट्रांसपोर्ट में भेजे।*
*इस बारे में जल्द को कमेटी द्वारा व्यापारी हित मे अन्य एसोसिएशन के साथ भी मीटिंग की जाएगी।*
*इस मीटिंग में राजीव ओमर, एडवोकेट सचिन घुगे और अन्य कई सारे एडवोकेट उपस्थित रहे।*