महर्षि दयानंद कॉलेज में आयोजित कार्यशाला संपन्न

मुंबई। महर्षि दयानंद कॉलेज, परेल में स्टाफ एकेडमी द्वारा “स्ट्रेस मैनेजमेंट इन इस्प्रिचुयलटी” विषय पर कार्यशाला का आयोजन प्रो. रविन्द्र उपाध्याय अध्यक्ष, फिजिक्स विभाग द्वारा किया गया।प्राचार्य प्रो. डॉ.हेमंत शर्मा ने स्वागत व्याख्यान में कबीर दास के बीजक को उद्धृत करते हुए कहा कि कबीर दास का बीजक स्ट्रेश मैनेजमेंट के लिए उपयोगी ग्रंथ है ।

आधुनिक भागम भाग तनाव के दौर में कबीर दास बहुत प्रेरणा मिलती है।डॉ.उमेश चंद्र शुक्ल उप प्राचार्य ने प्राचीन सरस्वती संस्कृति,हड़प्पा मोहनजोदड़ो से जोड़ते हुए सनातन धर्म पर विचार रखते हुए।ऋग्वेद रामचरितमानस, श्रीमद्भागवत गीता के विचारों के आलोक में निर्भय जीवन, यम,नियम आसन प्राणायाम प्रत्याहार पर बल दिया। विश्व का अद्वितीय ग्रंथ श्रीमद्भागवत गीता है जिसे कुरुक्षेत्र के मैदान में कौरवों और पांडवों की सेना मरने मारने के लिए मैदान में हैं। दोनों सेनाओं में कितना कितना स्ट्रेस रहा होगा।

अर्जुन के दबाव जानकार श्रीकृष्ण भगवान गीता के श्लोक सुनाते हैं।विषय विशेषज्ञ डॉ.सयाली यादव उप प्राचार्य गुरु नानक खालसा कॉलेज ने विस्तृत रूप से तनाव के कारणों को चिंहृनित करते हुए किस तरह स्ट्रेस मैनेजमेंट कर स्वस्थ प्रसन्न सुंदर लक्ष्य पूर्ण सफल जागरूक जीवन जीया जा सकता है। उनके सारगर्भित सरस व्यावहारिक व्याख्यान ने ऐडोटोरीयम में सबको सम्मोहित कर दिया था।

कार्यक्रम का संचालन प्रो डॉ. प्रिया पारकर ने किया एवं उप प्राचार्य प्रो. डॉ.उमेश चंद्र शुक्ल ने सभी अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि ‘जिंदगी की किताब में धैर्य का होना बहुत जरूरी है।डॉ सयाली यादव का व्याख्यान प्राध्यापकों एवं विद्यार्थियों के लिए बहुत उपयोगी है । इस अवसर पर प्रो. रविन्द्र उपाध्याय, शर्मीला नागर प्रिय पारकर प्रो.ललित त्यागी,प्रो मृणाल कुलकर्णी,डॉ.बंडोवा निकम, डॉ.वर्षा थोरात, डॉ.आशा कुम्हार,डॉ.उषा दुबे,डॉ.पल्लवी मिराजकर,डॉ.प्रियंका भाटकर,श्रेया चावरकर, डॉ.कोमल मोनकर की सक्रिय सहभागिता ने कार्यक्रम को विशेष बना दिया।